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Parliament Special Session 2023: संसदीय इतिहास में अभूतपूर्व फैसला: राज्‍यसभा में सर्वसम्‍मति से पारित हुआ महिला आरक्षण बिल, विरोध में पड़े शून्‍य वोट

Parliament Special Session 2023: महिला आरक्षण बिल को लोकसभा में पास करने के बाद अब सरकार ने इसे राज्यसभा में पेश कर दिया है। राज्यसभा में सरकार की तरह से इस बिल की वकालत जेपी नड्डा कर रहे हैं। सरकार चाहती है कि यह बिल राज्यसभा से भी जल्दी पास हो जाए।

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Narendra modi
Narendra modi

Parliament Special Session 2023: भारत के संसदीय इतिहास में गुरुवार को अभूतपूर्व फैसला किया गया। राज्‍यसभा में गुरुवार देर रात महिला आरक्षण बिल सर्वसम्‍मति से पारित हो गया और सभी सांसदों ने इस चिरप्रतीक्षित बिल पर एक स्‍वर में सहमति जताते हुए आखिरकार इस पर मुहर लगा दी। इस ऐतिहासिक फैसले के बाद संसदीय परंपरा में 21 सितंबर के दिन को सुनहरे अक्षरों में अंकित किया जाएगा।

बीते दिन लोकसभा में महिला आरक्षण बिल के पास होने के बाद आज राज्‍यसभा में महिला आरक्षण बिल को पेश किया गया। इस पर सदन में दिनभर चली चर्चा और पक्ष-विपक्ष के अधिकांश नेताओं ने इसके समर्थन में ही अपने विचार रखे। गुरुवार देर शाम इस बिल को पारित कराने को लेकर हुई वोटिंग में कुल 215 सांसदों ने अपने मतों का प्रयोग किया। सभी सांसदों ने इस बिल के पक्ष में ही वोट किए। इस तरह विरोध में शून्‍य वोट पड़े। यह अपने आप में ऐतिहासिक रहा चूंकि ऐसा अब तक कम ही देखने को मिला है कि किसी अहम विधेयक पर चर्चा के उपरांत सभी सांसदों ने एकमत होकर केवल उसके समर्थन में वोट किया हो।

पीएम मोदी ने की सर्वसम्‍मति से बिल को पास कराने की अपील

राज्‍यसभा में आज की कार्यवाही के दौरान महिला आरक्षण बिल पर वोटिंग प्रक्रिया से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संबोधन में कहा कि संसद में इस बिल के पारित हो जाने के बाद देश के सभी नागरिकों में एक नया विश्‍वास जगेगा। नारी शक्ति को बढ़ावा देने और महिला सशक्तिकरण की दिशा में संसद के सभी सदस्‍यों और राजनीतिक दलों ने एक महत्‍वपूर्ण भूमिका अदा की हैं और अहम योगदान दिए हैं। पीएम ने सभी सदस्‍यों से एक स्‍वर में इस बिल का समर्थन करने की अपील भी की। उन्‍होंने कहा कि महिला आरक्षण बिल पर संसद के दोनों सदनों में पिछले दो दिनों से लंबी चर्चा का दौर चला और 132 से अधिक सदस्‍यों ने इस निर्णायक चर्चा में भाग लेकर अपने विचार रखे जोकि इस बिल को लेकर काफी मददगार साबित होगा। और आखिरकार अंत में हुआ भी वही, जिसको लेकर प्रधानमंत्री ने सभी संसदीय सदस्‍यों से अपील की।

इससे पहले, लोकसभा में महिला आरक्षण बिल के पास होने के बाद आज नई संसद की कार्यवाही के तीसरे दिन सरकार की तरफ ने जेपी नड्डा ने इस बिल को राज्यसभा में पास कराने का जिम्मा लिया है। जेपी नड्डा ने इस बिल के समर्थन में अपनी बात रखते हुए कहा है कि आज अगर यह बिल पास हो गया 2029 तक सदन में 33 फीसद महिलाएं आ जाएंगी। उन्होंने कहा कि इस बिल को लागू कराने के लिए जनगणना और परिसीमन जरूरी है उसके बिना यह लागू नहीं हो सकता। इसलिए जरूरी है कि यह बिल अभी पास होना चाहिए

बता दें कि महिला आरक्षण बिल पर सदन में इस समय चर्चा जारी है। सूत्रों के हवाले से खबर आई है कि महिला आरक्षण बिल पर आज ही वोटिंग खत्म हो जाएगी। जिसके बाद सदन को आज से अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया जाएगा। गौरतलब है कि संसद का विशेष सत्र 5 दिन के लिए बुलाया गया था। जिसके अनुसार संसद का विशेष सत्र का आखिरी दिन 22 सितंबर को है।

महिला आरक्षण बिल पर राज्यसभा में चर्चा के दौरान जेपी नड्डा ने कहा है कि प्रधानमंत्री मोदी पक्का काम करते हैं। कोई कच्चा काम नहीं करते। वह कहते हैं कि बीजेपी पहली पार्टी है जिसने महिलाओं को सब जगह 33 फीसद हिस्सेदारी दी है। हमने देश को पहली महिला वित्तमंत्री, रक्षामंत्री व विदेश मंत्री दी है।

दिए विपक्ष के सवालों के जवाब

इसके अलावा इस बिल को पास करने में देरी क्यों ?  महिलाओं को 33 फीसद आरक्षण क्यों नहीं ? जैसे सवालों का जवाब देते हुए नड्डा ने कहा कि सरकार आरक्षण लागू नहीं कर सकती है। यह काम आयोग का है मगर उससे पहले जनगणना और परिसीमन जरूरी है। वहीं इसके अलावा नड्डा ने कहा कि हमने हमेशा महिलाओं का सम्मान किया है। हमारा नजरिया महिलाओं के लिए बेचारा और अबला नारी जैसा कभी नहीं रहा है। हम तो नारी को देवी की तरह पूजते हैं। वह कहते हैं कि आज यह बिल पास होगा तो 2029 में महिलाओं की संख्या सदन में 33 फीसद होगी।

नड्डा कहते हैं कि एक रिसर्च के अनुसार महिलाओं की निर्णय लेने की क्षमता ज्यादा होती है। इसके अलावा महिलाओं ने हमेशा नशे के खिलाफ आवाज उठाई है। वह कहते हैं कि कई जगह ऐसे भी उदाहरण देखने को मिले हैं जहां महिलाएं नेतृत्व करती हैं वहां करप्शन कम होता है। 

बोले हमने देश को दिया पहला OBC प्रधानमंत्री

नड्डा ने इसके अलावा सदन को संबोधित करते हुए कह था कि हमारी पार्टी ने देश को पहला ओबीसी प्रधानमंत्री दिया है। हमारी पार्टी में करीब 29 फीसद ओबीसी हैं। वह कहते हैं कांग्रेस के जितने सांसद हैं उससे ज्यादा तो हमारे ओबीसी सांसद हैं। वह कहते हैं कांग्रेस ओबीसी को गाली देती है और माफी भी नहीं मांगती।

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