Australia PM India Tour: भारतीय नौसेना का पहला स्वदेशी एयरक्राफ्ट आईएनएस विक्रांत है। आईएनएस विक्रांत को बनाने से भारत रक्षा के क्षेत्र के साथ आत्मनिर्भर बनने पर भी लगातार जोर देता हुआ नजर आ रहा है। इसी कड़ी में भारत का पहला स्वदेश में बना एयरक्राफ्ट कैरियर आईएनएस विक्रांत भारतीय नौसेना में कमीशन होने के बाद मुंबई के नेवल डॉक में पहुंचा। इस एयरक्राफ्ट को स्वदेश में बनाकर भारत दुनिया का छठा ऐसा देश बन गया है जिसने खुद का एयरक्राफ्ट बनाया है।
48,000 किलो के हथियार ढ़ोने की क्षमता
ये एक ऐसा एयरक्राफ्ट है जो समुद्र में दुश्मन से सीधी टक्कर लेने के सक्षम है। इस एयरक्राफ्ट में 2 हजार करोड़ रुपए की लागत लगी है। ऐसे में आईएनएस विक्रांत पर किसी भी वक्त 1,600 सैनिक सवार हो सकते हैं। इसी के साथ इसमें तीन मिग29 K लड़ाकू जेट, स्वदेशी एलसीए फाइटर प्लेन, तेजस kamov फर्स्ट रिस्पॉन्डर हेलीकॉप्टर के साथ करीबन 48,000 किलो के हथियार ढ़ोने की क्षमता है।
आईएनएस विक्रांत का वजन
भारतीय नौसेना स्वदेशी एयरक्राफ्ट आईएनएस विक्रांत का कुल वजन करीबन 45 हजार टन है। इसी के साथ इसका हेंगर एरिया 22 मीटर चौड़ा और 182 मीटर लंबा है। इसी के साथ इस 14 डेक वाले कैरियर का सबसे बड़ा हिस्सा इसका हेंगर है। इस एरिया में करीबन 22 एयरक्राफ्ट और नौसेना के हॉलिकॉप्टर को पार्क किया जा सकता है। हेंगर एरिया में फायर बैरियर जैसी आधुनिक तकनीक भी है। फायर बैरियर तकनीक से एयरक्राफ्ट कैरियर में आग लगने की परिस्थितियों में हेंगर को दो हिस्सों में बांट देगी ताकि आग पूरे एयरक्राफ्ट में ना फैले।
ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री ने विक्रांत पर रखा कदम
बीते गुरुवार को ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज विक्रांत पर पहुंचे थे। इस दौरान उन्हें आईएनएस विक्रांत पर गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज ने आईएनएस विक्रांत को देखकर उसकी खूब तारीफ करी। इसी के साथ ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री पहले ऐसे विदेशी प्रधानमंत्री बने जिन्होंने से देश में बने आईएनएस विक्रांत पर कदम रखा है।