Electoral Bonds Data: लोकसभा चुनावों से पहले इलेक्टोरल बॉन्ड का मामला लगातार गर्माता जा रहा है। सोमवार को आज फिर से सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में सुनवाई की है। पांच जजों की संविधान पीठ ने एक बार फिर स्टेट बैंक ऑफ़ इंडिया को फटकार लगाई है। इसके साथ ही कहा कि, कुछ भी ना छिपाया जाए। इस सुनवाई के दौरान आज पांच जजों की संविधान पीठ में सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ,जस्टिस संजीव खन्ना, जस्टिस बीआर गवई, जस्टिस जेबी पारदीवाला और जस्टिस मनोज मिसरा मौजूद रहे।
इलेक्टोरल बॉन्ड पर सुप्रीम कोर्ट ने की सुनवाई
सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने SBI से कहा कि, “एसबीआई को तत्काल बॉन्ड नंबर ईसीआई को मुहैया कराने का आदेश सुप्रीम कोर्ट ने दे दिया है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मुताबिक, 21 मार्च तक एसबीआई को सभी जानकारी चुनाव आयोग को मुहैया करा दिए जाने का हलफनामा कोर्ट में देना होगा।” इलेक्टोरल बॉन्ड के यूनिक नंबर को लेकर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने SBI की तरफ से केस लड़ रहे वकील हरीश साल्वे से कहा कि, “हमने Electoral Bonds Data से जुड़ी सारी जानकारी देने को कहा था। लेकिन SBI ने पूरी जानकारी नहीं दी। SBI ऐसा नहीं कर सकता है।” आपको बता दें, किसने किस पार्टी को कितना चंदा दिया है वो इस यूनिक नंबर से ही पता चलेगा।
चीफ जस्टिस चंद्रचूड़ ने क्या कहा?
इस के साथ ही चीफ जस्टिस चंद्रचूड़ ने SBI से कहा कि, “आप हर बात के लिए हमारे आदेश का इंतजार नहीं कर सकते कि कोर्ट जो कहेगा, वही हम करेंगे। आपको आदेश समझना चाहिए था।”
हरीश साल्वे ने क्या कहा?
इस पर हरीश साल्वे ने कहा कि,”एसबीआई के बारे में गलत छवि बनाई जा रही है। हम साफ करना चाहते हैं कि आदेश में क्या लिखा था। हमने समझा कि बॉन्ड की तारीख, बॉन्ड खरीदने वाले का नाम, राशि और कैश करवाने वाले का ब्यौरा देने के लिए कहा गया है।”
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