Vijay Mallya Case: सीबीआई (CBI) ने कोर्ट में भगोड़ा घोषित शराब कारोबारी विजय माल्या के खिलाफ नई चार्जशीट दायर कर एक नया दावा किया है। जिसमें विजय माल्या की विदेश में 330 करोड़ रुपए की संपत्ति का खुलासा किया गया है। सीबीआई की चार्जशीट के मुताबिक माल्या ने ये संपत्तियां देश से भागने से पहले 2008 से 2015-16 के दौरान फ्रांस और UK में 330 करोड़ की नई संपत्तियों को खरीदा था। जब कि उस समय उसकी किंगफिशर एयरलाइंस को दिए सॉफ्ट लोन के रूप में दिए कर्जों की वसूली बैंकों ने नहीं की थी।
जानें क्या है नया खुलासा
केंद्रीय जांच एजेंसी CBI ने भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या के खिलाफ CBI की स्पेशल कोर्ट में नई पूरक चार्जशीट दायर की है। इस चार्जशीट में CBI ने दावा किया है कि भगोड़े विजय माल्या ने 2008 से 2015-16 के दौरान फ्रांस और UK में 330 करोड़ की नई संपत्तियों को खरीदा था। माल्या ने 2008 में 250 करोड़ रुपए की फ्रांस में और 2-15-16 में UK में 80 करोड़ रुपए की संपत्तियों को खरीदा था। जबकि उस दौरान बैंकों से सॉफ्ट लोन के रूप में लिए गए करोड़ों रुपए के कर्जों की किस्त तक नहीं चुकाई थी। उसकी किंगफिशर एयरलाइंस गंभीर नकदी संकट का सामना कर रही थी। इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने माल्या की उस याचिका को खारिज कर दिया था, जिसमें उसने कोर्ट से उसे भगोड़ा घोषित करने और उसकी संपत्तियों को जब्त न करने की अपील की थी।
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बैंक अधिकारी ने किया पद का दुरुपयोग
सीबीआई ने इस सारे मामले में बैंकों और उसके अधिकारियों की मिलीभगत को जिम्मेदार माना है। जिसकी वजह से बैंकों को करोड़ों रुपए का आर्थिक नुकसान हुआ। सीबीआई की चार्जशीट में IDBI बैंक के अधिकारी दासगुप्ता को इस मामले में मुख्य रुप से जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए अक्टूबर 2009 में अल्पकालिक कर्ज (STL) के रूप में 150 करोड़ रुपए के लोन की मंजूरी दी थी। सीबीआई ने दावा किया कि लोन वितरण में माल्या और बैंक अधिकारियों ने मिलकर इस साजिश को अंजाम दिया है।
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