Ghaziabad News: बारिश का मौसम शुरू हो चुका है। कई राज्यों में तो माॉनसून ने दस्तक भी दे दी है। वहीं आज दिल्ली एनसीआर में झमाझम बारिश से मौसम सुहावना हो गया है। हालांकि इस मौसम में कई प्रकार कि बिमारियां होने का भी खतरा होता है जैसे डेंगू मलेरिया आदि। इसी बीच गाजियाबाद में स्वास्थ्य विभाग ने वेक्टर जनित बीमारियों और विशेष रूप से डेंगू के मामलों से निपटने के लिए कमर कस ली है, जो आमतौर पर हर साल मानसून की शुरुआत के साथ रिपोर्ट किए जाते हैं।
गाजियाबाद में स्वास्थ्य विभाग ने कसी कमर
अधिकारियों के मुताबिक पिछले साल डेंगू के 1,261 मामले सामने आए, जो गाजियाबाद जिले में पिछले छह वर्षों में सबसे अधिक है, जिसमें चार मौतें भी हुईं। गौरतलब है कि इसे लेकर विभाग सतर्क हो गया है ताकि आने वाले दिनों में डेंगू समेत अन्य बिमारियों से गाजियाबाद के लोगों को बचाया जा सके।
जिला सर्विलांस अधिकारी ने क्या कहा?
जिला सर्विलांस अधिकारी ने जानकारी देते हुए कहा कि “1 जुलाई से, हम वेक्टर जनित बीमारियों के खिलाफ व्यापक अभियान चलाएंगे। इस संदर्भ में, हमारी टीमें मच्छरों के प्रजनन के मामलों की पहचान करने के लिए घरों में भी जाएंगी। मैपिंग अभ्यास के दौरान, हमने डेंगू और अन्य वेक्टर जनित बीमारियों के लिए उच्च जोखिम वाले क्षेत्रों की भी पहचान की है”।
इन जगहों को बनाया गया उच्च जोखिम क्षेत्र
अधिकारियों ने बताया कि उन्होंने इस बार शहरी क्षेत्रों में 20 और ग्रामीण क्षेत्रों में चार आवासीय इलाकों की पहचान की है, जहां के निवासियों में वेक्टर-जनित बीमारियों का खतरा अधिक है। जिसमे इंदिरापुरम में न्याय खंड, शक्ति खंड और नीति खंड, वसुंधरा में सेक्टर 2, 4 और 16, वैशाली में सेक्टर 1, 4 और 5, क्रॉसिंग रिपब्लिक, राज नगर एक्सटेंशन, शास्त्री नगर और गोविंदपुरम शामिल है। हालांकि अब देखना होगा कि क्या विभाग के इस एक्शन से आने वाले दिनों नें डेंगू के मामले में कमी आएंगी या नही।