Haryana News: देश की राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के पड़ोसी राज्य हरियाणा में वर्ष 2024 के अंत में विधानसभा के चुनाव संपन्न होने हैं। हरियाणा में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर आम आदमी पार्टी (AAP) ने भी कमर कस ली है और पार्टी की ओर से सूबे में जनसमर्थन जुटाने का काम शुरू कर दिया गया है। हरियाणा में होने वाले विधानसभा चुनाव में पंजाब व दिल्ली की भूमिका भी अहम रहने वाली है।
AAP द्वारा इसी क्रम में दिल्ली व पंजाब के गवर्नमेंट मॉडल का जिक्र कर हरियाणा में बदलाव कराने की कोशिश की जा रही है। पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने आज इसी क्रम में हरियाणा के सोनीपत जिले में स्थित गोहाना नामक स्थान पर AAP द्वारा आयोजित की गई ‘बदला जनसभा’ को संबोधित किया। इस दौरान सीएम मान, सत्तारुढ़ दल पर निशाना साधते हुए AAP की तमाम उपलब्धियों का जिक्र कर लोगों से समर्थन बटोरने की कोशिश करते भी नजर आए। (Haryana News)
‘बदला जनसभा’ में गरजे CM Mann
हरियाणा में वर्ष 2024 के अंतिम महीनों में विधानसभा के चुनाव संपन्न होंगे। इसको लेकर सूबे में सियासी पारा अभी से चढ़ता नजर आ रहा है। आम आदमी पार्टी (AAP) भी हरियाणा विधानसभा चुनाव को लेकर जोर कस रही है और आज इसी क्रम में सोनीपत जिले के गोहाना नामक स्थान पर AAP द्वारा ‘बदला जनसभा’ का आयोजन किया गया।
गोहाना में आयोजित की गई जनसभा को संबोधित करने पहुंचे पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान (CM Bhagwant Mann) ने हरियाणा में AAP की भूमिका को लेकर बड़ा दावा किया है। सीएम मान ने मंच से ही स्पष्ट किया कि “हम (AAP) हरियाणा को बदल देंगे और केजरीवाल को लाएंगे।” सीएम मान का कहना है कि “दिल्ली और पंजाब की तरह हरियाणा की जनता भी बदलाव चाहती है।”
40000 से ज्यादा युवाओं को नौकरी
मुख्यमंत्री भगवंत मान ने गोहाना में ‘बदला जनसभा’ को संबोधित करते हुए पंजाब सरकार की उपलब्धियों का जिक्र किया। सीएम मान ने भरे मंच से लोगों के समक्ष कहा कि “पंजाब में आम आदमी पार्टी को सत्ता में आए अभी सिर्फ 2.5 साल ही हुए हैं और हमने इस कार्यकाल में 44250 युवा लड़के-लड़कियों को बिना रिश्वत और बिना सिफारिश के सरकारी नौकरियां दी हैं।”
AAP की रणनीति
आम आदमी पार्टी (AAP) हरियाणा के विधानसभा चुनाव में खास रणनीति के तहत मैदान में उतर रही है। AAP की ओर से पहले ही ऐलान किया जा चुका है कि पार्टी राज्य के सभी 90 विधानसभा सीटों पर अपने प्रत्याशी उतारेगी। दावा किया जा रहा है कि हरियाणा में दशकों से सत्ता में काबिज बीजेपी के खिलाफ इस चुनाव में एंटी इनकंबेंसी का माहौल है। वहीं कांग्रेस से भी प्रदेश स्तरीय नेतृत्व पर आपसी कलह की खबरें सामने आ जा रही है। ऐसे में ये मौका AAP के लिए बेहतर साबित हो सकता है और वे दिल्ली और पंजाब के बाद हरियाणा में भी खुद को बेहतर साबित कर सकते हैं।