Punjab News: पंजाब में मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान (CM Bhagwant Mann) के नेतृत्व में चल रही आम आदमी पार्टी (AAP) की सरकार राज्य में शांति व्यवस्था कायम रखने के लिए पूरी तरह प्रयासरत है। इस क्रम में पुलिस को खास निर्देश दिए गए हैं ताकि नागरिकों की रक्षा सुनिश्चित की जा सके और उन्हें एक सुरक्षित माहौल उपलब्ध कराया जा सके।
पंजाब (Punjab News) सरकार के निर्देशों का पालन करते हुए ही पुलिस ने नागरिकों को साइबर फ्रॉड (Cyber Fraud) से बचाने के लिए एक बड़ा कदम उठाया है। पुलिस ने आज चैटबॉट साइबर मित्र (Chatbot Cyber Mittar) लॉन्च किया है जिससे साइबर अपराधों से संबंधित प्रश्नों में सहायता प्रदान करने के लिए मदद मिल सकेगी और साइबर धोखाधड़ी से निपटा जा सकेगा।
Punjab News- Cyber Crime से निपटने के लिए पुलिस का बड़ा कदम
पंजाब पुलिस ने साइबर क्राइम से निपटने के लिए एक बड़ा कदम उठाया है। डीजीपी पंजाब के आधिकारिक एक्स हैंडल से दी गई जानकारी के मुताबिक वास्तविक समय में साइबर अपराध रिपोर्टिंग से निपटने के लिए हेल्पलाइन 1930 और सिटीजन फाइनेंशियल साइबर फ्रॉड रिपोर्टिंग एंड मैनेजमेंट सिस्टम (CSCFRM) पर क्षमताओं में वृद्धि हुई है। साइबर अपराधों से संबंधित प्रश्नों में सहायता प्रदान करने के लिए आज पंजाब में चैटबॉट साइबर मित्र (Chatbot Cyber Mittar) लॉन्च किया गया है।
पुलिस की मानें तो ये अत्याधुनिक नवाचार साइबरक्राइम रिपोर्टिंग को बढ़ाएंगे और वित्तीय धोखाधड़ी का त्वरित समाधान सुनिश्चित करेंगे व डिजिटल दुनिया में नागरिकों को सशक्त बनाएंगे। पुलिस द्वारा 2024 में 17% की सफलता दर के साथ साइबर धोखेबाजों (Cyber Fraud) द्वारा पीड़ितों के खातों से निकाले गए धन को सक्रिय रूप से फ्रीज/लीन मार्किंग कर दिया गया है। (337 करोड़ की साइबर धोखाधड़ी के मुकाबले 57 करोड़ ग्रहणाधिकार)
पुलिस का कहना है कि साइबर मित्र चैटबॉट 24×7 सहायता और त्वरित प्रतिक्रिया के साथ त्वरित सूचना पहुंच सुनिश्चित करेगा जो नागरिकों के विवरण की सुरक्षा के लिए गोपनीय रिपोर्टिंग सुनिश्चित करेगा। पुलिस नागरिकों की सुरक्षा और एक सुरक्षित डिजिटल पारिस्थितिकी तंत्र सुनिश्चित करने के लिए समर्पित है।
साइबर धोखाधड़ी से निपटना होगा आसान
पंजाब पुलिस की ओर से लॉन्च किए गए चैटबॉट साइबर मित्र (Chatbot Cyber Mittar) की मदद से साइबर धोखाधड़ी से निपटना आसान हो सकेगा। इससे पुलिस की तकनीकी क्षमता में भी वृद्धि हो सकेगी और पहले की तुलना में आसानी से धोखाधड़ी करने वालों तक पहुंचा जा सकेगा।