Shivaji Maharaj Statue: महाराष्ट्र के सिंधुदुर्ग में छत्रपति महाराज की प्रतिमा टूटने से सियासी बवाल मच गया है। एक तरफ जहां विपक्ष बीजेपी पर हमलावर नजर आ रही है। वहीं बीजेपी ने इसे लेकर सफाई दी है। गौरतलब है कि पीएम मोदी ने अभी कुछ महीने पहले ही इस प्रतिमा का अनावरण किया था। वहीं पुलिस ने इस मामले में दो लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। पुलिस का कहना है कि आरोपियों को शिवाजी महाराज का पुतला बनाने और लगाने का काम दिया था। इसके बाद ही विपक्ष इसे लेकर जमकर हमलावर नजर आ रहा है।
विपक्ष ने बोला हमला
छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा गिरने पर शिवसेना (यूबीटी) नेता आनंद दुबे ने कहा कि “सिंधुदुर्ग से खबर आ रही है कि दिसंबर 2023 में स्थापित छत्रपति शिवाजी महाराज की मूर्ति आज 8-9 महीने बाद ही ढह गई। ऐसी अनियमितताएं, ऐसा भ्रष्टाचार। महायुति सरकार क्या चाहती है” क्या करें?
ठेकेदार, सरकारी विभागों के कर्मचारी, पीडब्ल्यूडी अधिकारी कौन हैं जिन्होंने लूट मचा रखी है और हमारे महापुरुषों का सम्मान नहीं कर पा रहे हैं? महायुति को महाराष्ट्र की जनता आगामी चुनाव में जवाब देगी।”
सीएम एकनाथ शिंदे ने जांच के दिए आदेश
मीडिया से बात करते हुए महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि जो घटना घटी वह दुर्भाग्यपूर्ण है। छत्रपति शिवाजी महाराज महाराष्ट्र के पूज्य देवता हैं। यह प्रतिमा नौसेना द्वारा बनवाई गई थी। उन्होंने ही इसे डिजाइन भी किया था। लेकिन करीब 45 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चली तेज हवाओं के कारण यह गिरकर क्षतिग्रस्त हो गया।
कल पीडब्ल्यूडी और नौसेना के अधिकारी घटनास्थल का दौरा करेंगे और इसके पीछे के कारण की जांच करेंगे। घटना के बारे में सुनते ही मैंने लोक निर्माण मंत्री रवींद्र चव्हाण को घटनास्थल पर भेजा। हम इस घटना के पीछे के कारणों का पता लगाएंगे और महाराष्ट्र के पूज्य छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा को उसी स्थान पर पुनः स्थापित करेंगे।”
कांग्रेस ने शेयर किया वीडियो
आपको बता दें कि इस मामले में कांग्रेस ने अपनी प्रतिक्रिया दी है। बकायदा कांग्रेस ने इसका एक वीडियो भी शेय़र किया है। बता दें कि कांग्रेस ने यह वीडियो अपने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स से शेयर किया है और लिखा कि
“BJP सरकार में भ्रष्टाचार चरम पर है। नरेंद्र मोदी ने 4 दिसंबर, 2023 को महाराष्ट्र के राजकोट में छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा का अनावरण किया। अब करीब 8 महीने बाद छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा ढह गई। हालात ये हैं कि भ्रष्टाचार के मामले में महापुरुषों को भी नहीं बख्शा जा रहा है”।