Adani Hindenburg Case: अदाणी-हिंडनबर्ग मामले में अब एक नया मोड़ सामने आया है। सुप्रिम कोर्ट द्वारा इस मामले की जांच कमेटी के लिए बनाई गई एक्सपर्ट कमेटी ने अडानी ग्रुप को क्लीन चिट दे दी है। दरअसल, एक्सपर्ट कमेटी द्वारा सुप्रिम कोर्ट में सौंपी गई रिपोर्ट सार्वजनिक हो गई है। उस रिपोर्ट में बताया गया है कि पहली नजर में नियमों का कोई उल्लंघन नहीं हुआ है। अभी तक इस रिपोर्ट के सार्वजनिक होने को लेकर एक्सपर्ट कमेटी की तरफ से कोई बयान जारी नहीं किया गया है, लेकिन इस एक खुलासे को गौतम अडानी के लिए बड़ी राहत के तौर पर देखा जा रहा है।
एक्सपर्ट कमेटी की रिपोर्ट में क्या है ?
विशेषज्ञ कमेटी की रिपोर्ट के अनुसार, अभी तक ऐसा कुछ नहीं मिला है, जिससे यह पता लगाया जा सके कि अदाणी ग्रुप ने शेयरों के मूल्यों में कोई गड़बड़ी नहीं की थी। न ही आर्टिफिशियल ट्रेडिंग या एक ही पार्टी द्वारा बार-बार ट्रेडिंग के भी सबूत नहीं मिले हैं। रिपोर्ट के अनुसार, अभी तक की जांच में मिनिमम पब्लिक शेयर होल्डिंग का उल्लंघन भी नहीं मिला है। विशेषज्ञ समिति ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि सेबी ने 13 विशिष्ट लेनदेन की पहचान की है, जिसकी उसके द्वारा जांच की जा रही है कि क्या वह कानूनी तौर पर मान्य लेनदेन थे या फिर उनमें कोई गड़बड़ी थी। ऐसे में समिति इन लेनदेन पर अभी कोई टिप्पणी नहीं कर सकती।
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शेयरों में आई तेजी
अदाणी-हिंडनबर्ग मामले पर एक्सपर्ट कमेटी की रिपोर्ट सामने आते ही अडानी समूह के शेयरों (Adani Group Stocks) में जोरदार तेजी देखने को मिली है। आज सुबह अडानी समूह के स्टॉक्स गिरावट के साथ कारोबार कर रहे थे। लेकिन रिपोर्ट के सामने आते ही समूह के सभी स्टॉक्स में जोरदार खरीदारी लौटी और समूह के सभी 10 शेयर तेजी के साथ बंद हुए। आज के ट्रेड में सबसे बड़ी तेजी अडानी विल्मर के शेयर में देखने को मिली है।
क्या है हिंडनबर्ग रिपोर्ट ?
बता दें कि 24 जनवरी 2023 को हिंडनबर्ग ने अडानी ग्रुप के संबंध में एक रिपोर्ट जारी की थी। रिपोर्ट के निष्कर्ष में 88 प्रश्नों को शामिल किया था। रिपोर्ट में दावा किया गया था कि अडानी समूह दशकों से शेयरों के हेरफेर और अकाउंट की धोखाधड़ी में शामिल है। उस एक रिपोर्ट के सामने आने के बाद ही अडानी के शेयरों में बड़ी गिरावट देखने को मिली थी और कुछ दिनों के अंदर में ही गौतम अडानी की संपत्ति को करोड़ों की चपत लग गई। बड़ी बात ये रही इस मुद्दे ने विपक्षी पार्टियों के ध्यान को भी आकर्षित किया और देखते ही देखते इस पर जमकर सियासत हुई। जिसके बाद ये मुद्दे SC पहुंचा।
SEBI को जांच के लिए 3 महीने का समय मिला
बता दें कि इस मामले की जांच के लिए सुप्रिम कोर्ट ने SEBI को तीन महीने का अतिरिक्त समय दिया है। दरअसल, बीते दिनों इस मामले की जांच की मांग वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई हुई। इससे पहले हुई सुनवाई में मार्केट रेगुलेटर बोर्ड (SEBI) ने मामले की जांच के लिए अतिरिक्त समय मांगा था। वहीं, सेबी की मांग पर गौर करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने उसे 3 महीने का अतिरिक्त समय दिया है। कोर्ट ने SEBI को 14 अगस्त तक जांच रिपोर्ट सौंपने के आदेश भी दिए हैं।
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