Kidney Failure: अक्सर लोगों में किडनी की समस्या देखने को मिलती है। वहीं आंकड़े में बात करें तो करीब 1 लाख लोगों में से 10 लोगों की मौत हर साल किडनी फेल होने के कारण हो रही है। वहीं कई लोगों को तो समय पर इलाज ही नहीं मिल पाता है। इसके कारण उन्हें मौत के घाट उतरना पड़ता है।
वहीं इस समस्या पर कई सारे हेल्थ एक्सपर्ट्स ने कई सारी चीजों का पता लगाया है। वहीं कई सारे हेल्थ एक्सपर्ट्स का कहना है कि किडनी फेल होने के बाद भी व्यक्ति जिंदा रह सकता है। यकीनन आप इस बात की सुनकर हैरान हो गए होंगे मगर ये सच है। तो आइए जानते हैं।
जानें किस स्थिति में किडनी की समस्या का करना पड़ता सामना
जब किडनी की समस्या लंबे समय से उत्पन्न रहती है। मगर इसका इलाज नहीं हो पाता है और जब मामला गंभीर हो जाता है। तब इस स्थिति में किडनी फेल होने की समस्या उत्पन्न हो जाती है। वहीं अगर इस समय भी व्यक्ति का इलाज सही से नहीं हो पाता है तो व्यक्ति की मौत हो जाती है।
आपको बता दें, किडनी की समस्या अक्सर ब्लड प्रेशर, ब्लड शुगर, कोलेस्ट्रॉल और हार्ट के मरीजों को होती है। वहीं इन बीमारियों के कारण व्यक्ति की हालत खराब होने लगती है और किडनी खराब होने की समस्या उत्पन्न हो जाती है।
इसके अलावा जो लोग अधिक टेंशन लेते हैं। दवाइयों के साथ लापरवाही करते हैं। इतना ही नहीं, नशीले पदार्थों का सेवन करते हैं। उन सभी लोगों पर किडनी फेल होने का खतरा बढ़ जाता है।
किडनी फेल होने के कुछ लक्षण
- यूरिन में आने लगती काफी परेशानी
- उल्टी आना
- थकान होना
- कमजोरी उत्पन्न होना
- त्वचा का खुजलीदार होना
- पैरों में सूजन
किडनी फेल होने के बाद भी कैसे बचाएं जान
हेल्थ एक्सपर्ट्स का कहना है कि किडनी फेल होने के बाद भी व्यक्ति के जान को आसानी से बचाया जा सकता है। इसके लिए एक विकल्प डायलिसिस है। इसमें व्यक्ति के जान को डायलिसिस के जरिए 30 से 40 साल तक बचाया जा सकता है। ये एक बेहतर विकल्प है। वहीं दूसरा विकल्प है किडनी ट्रांसप्लांट। किडनी ट्रांसप्लांट के जरिए व्यक्ति के किडनी को बदल दिया जाता है। इससे व्यक्ति पहले की तरह फिट एंड फाइन हो जाता है। मगर आपको बता दें, इसमें परिवार के किसी भी सदस्य से भी किडनी को बदला जा सकता है। इसके लिए जिसकी भी किडनी मरीज से मैच होगी। वहीं व्यक्ति किडनी देने के योग्य होगा।
किडनी की समस्या से बचने के लिए इन चीजों का रखें ध्यान
- ब्लड शुगर लेवल को कंट्रोल रखें।
- ब्लड प्रेशर को संतुलित रखें।
- नियमित रूप से एक्सरसाइज करें।
- पौष्टिक तत्व युक्त भोजन को डाइट में शामिल करें।
- डॉक्टर के परामर्श के बाद ही किसी भी दवाई का सेवन करें।
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों व दावों को केवल सुझाव के रूप में लें, DNP INDIA न्यूज़ इनकी पुष्टि नहीं करता है। इस तरह के किसी भी उपचार/दवा/डाइट पर अमल करने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें।