Ghaziabad News: उत्तर प्रदेश में बिजली की बढ़ी दरों से उपभोक्ताओं की मुश्किलें कम नहीं हुई थीं कि अब बिजली विभाग से अतिरिक्त सिक्योरिटी राशि जमा करने का नोटिस मिलने के बाद उन्हें घर की बिजली कटने का डर सताने लगा है। गाजियाबाद के सभी जोन के उपभोक्ताओं को यह नोटिस थमाया जा रहा है। विद्युत नियामक आयोग के निर्देश का पालन करते हुए बिजली विभाग बड़ी संख्या में उपभोक्ताओं को अब तक नोटिस भेज चुकी है। उपभोक्ताओं द्वारा सवाल पूछे जाने पर विभाग के आला अधिकारी विभिन्न अधिनियम और धाराओं का हवाला देते हुए अपनी विवशता जाहिर कर रहे हैं। इस नोटिस के चर्चा में आने के बाद स्थानीय लोग, सामाजिक संगठनों और आरडब्ल्यूए के लोगों में बिजली विभाग के खिलाफ नाराजगी चरम पर है।
बिजली विभाग के नोटिस से उपभोक्ता हैरत में
बताया जा रहा है कि बिजली विभाग द्वारा उपभोक्ताओं से करीब दो महीने के बिजली बिल के बराबर सिक्योरिटी राशि जमा कराने की बात कही गई है। ऐसा नहीं करने पर 15 दिनों के अंदर घर की बत्ती गुल हो सकती है। ऐसी बातें गाजियाबाद के बिजली उपभोक्ताओं द्वारा कही जा रही है। इसको लेकर मीडिया में भी तमाम तरह की खबरें प्रकाशित हो चुकी है। लेकिन सरकार द्वारा अब तक कोई ठोस जवाब नहीं जारी किया गया है, आखिरकार क्या उपभोक्ताओं को यह जमानत राशि विभाग को अदा करने होंगे? बहरहाल, बिजली विभाग के इस नोटिस को लेकर उपभोक्ता सड़क पर उतर गए हैं। दूसरी ओर विद्युत विभाग के अधिकारी शासन स्तर से आए निर्देशों का हवाला देते हुए अपनी विवशता जता रहे हैं।
बिजली विभाग के अधिकारियों ने कही ये बातें
अतिरिक्त जमानत राशि जमा करने को लेकर गाजियाबाद विद्युत निगम से सवाल पूछे जाने पर बताया गया कि, ”यह नोटिस विद्युत आपूर्ति संहिता 2005 की धारा 4.20 और विद्युत अधिनियम 2003 की धारा 47 के तहत उपभोक्ताओं को दी गई है। इसमें उपभोक्ताओं को तकरीबन दो महीने के बिजली बिल के बराबर सिक्योरिटी राशि जमा करना अनिवार्य है। यह नोटिस नियमों के अनुसार ही उपभोक्ताओं को भेजी गई है।” मालूम हो कि गाजियाबाद जिले में बिजली के करीब 11 लाख उपभोक्ता हैं, जिनमें एक लाख से ज्यादा वाणिज्यिक, 9000 से ज्यादा नलकूप और तकरीबन 2000 औद्योगिक कनेक्शन वाले उपभोक्ता हैं।
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