PM Modi Poland visit: भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने दो दिवसीय पोलैंड के दौरे पर है। मालूम हो कि बीते दिन यानि 21 अगस्त को पीएम मोदी वारसॉ पहुंचे। बताते चले कि पिछले 45 सालों में यह किसी पीएम का पहला पोलैंड दौरा है। इसी बीच उन्होंने वारसॉ में भारतीय समुदाय को संबोधित किया और कई मुद्दों पर अपनी बात खुलकर रखी।
पीएम मोदी ने पोलैंड का सराहा
अपने संबोधन के दौरान पीएम मोदी ने पोलैंड की जमकर तारीफ की उन्होंने कहा कि “भारत और पोलैंड मानवता के बंधन से जुड़े हुए हैं। मैं पोलैंड से मिली मदद को कभी नहीं भूल सकता, चाहे वह 2001 के गुजरात भूकंप के दौरान हो या जब हमारे छात्र यूक्रेन से लौट रहे थे। आप लोगों ने यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों की मदद की,
आपने उनकी बहुत मदद की, पोलैंड सरकार ने भारतीय छात्रों के लिए वीजा प्रतिबंध हटा दिया। पोलैंड ने हमारे छात्रों के लिए अपने दरवाजे खोले। आज मैं 140 करोड़ भारतीयों की ओर से आप सभी को, पोलैंड सरकार और लोगों को बधाई देना चाहता हूं। मैं आप सभी को सलाम करता हूँ”।
यह युद्ध का समय नहीं है
पीएम मोदी ने आगे कहा कि “सहानुभूति भारतीयों की पहचान में से एक है। जब भी किसी देश पर कोई मुसीबत आती है तो भारत मदद करने वाला पहला देश होता है। जब कोविड आया तो भारत ने कहा कि मानवता पहले है। भारत दूसरे देशों के नागरिकों की मदद करता है। भारत बुद्ध की परंपरा में विश्वास करता है।
इस क्षेत्र में शांति का समर्थक है और यह स्पष्ट है कि यह युद्ध का समय नहीं है। हमें चुनौतियों से लड़ने के लिए एक साथ रहने की जरूरत है। भारत कूटनीति और संवाद पर ध्यान केंद्रित करता है”।
सबका साथ – सबका विकास
अपने संबोधन को आगे बढ़ाते हुए पीएम ने कहा कि ’45 साल बाद किसी भारतीय प्रधानमंत्री ने पोलैंड का दौरा किया है। मैंने कुछ महीने पहले ऑस्ट्रिया का दौरा किया था, वहां भी 4 दशक बाद कोई भारतीय प्रधानमंत्री गया था। दशकों से भारत की नीति सभी देशों से समान दूरी बनाए रखने की थी लेकिन नए भारत की नीति सभी देशों से निकटता रखने की है। आज भारत सबका साथ-सबका विकास की बात करता है। और दूसरों के बारे में सोचता है। आज दुनिया भारत को ‘विश्वबंधु’ के रूप में सम्मान दे रही है”।
पीएम मोदी की यूक्रेन यात्रा काफी अहम
बता दें कि 1991 में यूक्रेन की आजादी के बाद पीएम मोदी की यह यात्रा किसी भारतीय प्रधान मंत्री की पहली यात्रा होगी। मालूम हो कि राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की के निमंत्रण पर पीएम मोदी यूक्रेन का दौरा करने वाले हैं। यह यात्रा भारत और यूक्रेन के बीच गहरे होते संबंधों का प्रतीक है और यह उजागर करती है कि भारत विश्व स्तर पर शांति के लिए खड़ा है और कूटनीति के माध्यम से इस क्षेत्र के साथ अपने संबंधों को मजबूत करने के लिए तैयार है। इसके अलावा पीएम मोदी रूस- यूक्रेन के बीच युद्ध रोकने की भी सिफारिश कर सकते है। इसलिए भी यह दौरा काफी अहम माना जा रहा है।